दुनिया में राहु ग्रह का नाम सुनते ही कई लोगों की रोंगटे
- सकारात्मक रहें और परोपकार करें: राहु को धर्म और आध्यात्मिकता पसंद है। क्रोध, ईर्ष्या जैसे नकारात्मक भावों से दूर रहें। जरूरतमंदों की मदद करें, दान-पुण्य करें। इससे राहु प्रसन्न होते हैं।
- शिवजी की आराधना: भगवान शिव राहु के देवता माने जाते हैं। सोमवार को शिवजी का अभिषेक करें, "ॐ नमः शिवाय" मंत्र का जाप करें। इससे राहु की नकारात्मक ऊर्जा कम होती है।
- गोमेद रत्न धारण करें: राहु का रत्न गोमेद है। ज्योतिषी की सलाह से इसे धारण करने से सौभाग्य, सफलता और मान-सम्मान बढ़ता है।
- कुत्ते को भोजन दें: राहु का संबंध काले कुत्तों से है। रोज़ाना काले कुत्ते को भोजन देना राहु को शांत करता है।
- शुक्रवार का व्रत रखें: शुक्रवार को व्रत रखने और मां लक्ष्मी की पूजा करने से राहु के दुष्प्रभाव कम होते हैं। आर्थिक परेशानियों से मुक्ति मिलती है।
- राहु मंत्र का जाप करें: "ॐ रां राहवे नमः" मंत्र का नियमित जाप करने से राहु की कृपा प्राप्त होती है। मन-मस्तिष्क शांत होता है और आध्यात्मिक प्रगति होती है।
राहु बीज मंत्र विधि और लाभ - Rahu Beej Mantra
राहु बीज मंत्र-Rahu Beej Mantra
राहु बीज मंत्र विधि (Rahu Mantra Vidhi )
- राहु मंत्र का जाप आपने किसी शनिवार वाले दिन से शुरू करना है।
- राहु मंत्र के जाप के लिए आपने रुद्राक्ष या काले स्फटिक की माला का प्रयोग करना है।
- पहले दिन जाप शुरू करने से पहले अपने गणेश पूजा, गुरु पूजा और कुलदेव की पूजा जरूर करनी है और जाप किसी आसन के ऊपर बैठ कर करना है।
- राहु बीज मंत्र का जाप शुरू करने से पहले जाप का संकल्प जरूर लें। संकल्प लेने की विधि आप हमारे पेज संकल्प की विधि पर क्लिक करके प्राप्त कर सकते हो।
- राहु मंत्र का जाप करते वक़्त 5 शनिवार वाले दिन मंत्र जाप करते वक़्त 1 चांदी के नागों का जोड़ा रखकर जाप करें। नागों को पहले गंगा जल से शुद्ध कर लेना है। पूजा के बाद उन नागों को किसी नाग मंदिर या शिव मंदिर में चढ़ा देना है। यह प्रक्रिया 5 शनिवार को करनी है।
- यदि आपकी कुंडली में काल सर्प दोष है तब भी आप राहु के इस बीज मंत्र का जप करके निवारण कर सकते हो।
- राहु बीज मंत्र का जाप श्रद्धा और विश्वास के साथ करना है तभी लाभ होने वाला है।
राहु बीज मंत्र के लाभ (Rahu Beej Mantra Benefits)
राहु मंदिर उत्तराखंड - FAQs
राहु मंदिर उत्तराखंड कहां स्थित है?
राहु मंदिर उत्तराखंड के पौड़ी जिले में स्थित है, जो विशेष रूप से राहु ग्रह की पूजा और उसके प्रभावों से मुक्ति पाने के लिए प्रसिद्ध है।राहु ग्रह को खुश करने के लिए कौन से उपाय किए जा सकते हैं?
राहु को खुश करने के लिए सकारात्मक सोच अपनाएं, परोपकार करें, शिवजी की पूजा करें, गोमेद रत्न धारण करें, काले कुत्ते को भोजन दें, और "ॐ रां राहवे नमः" मंत्र का जाप करें।राहु ग्रह के दोष से मुक्ति के लिए कौन सा मंत्र सबसे प्रभावी है?
राहु के दोष से मुक्ति के लिए "ॐ भ्रां भ्रीं भ्रौं सः राहवे नमः" बीज मंत्र और "ॐ रां राहवे नमः" मंत्र सबसे प्रभावी माने जाते हैं।राहु का रत्न कौन सा है और इसे कब धारण करना चाहिए?
राहु का रत्न गोमेद (हेलिएट) होता है। इसे ज्योतिषी की सलाह से पहनना चाहिए, और विशेष रूप से राहु की महादशा या अंतरदशा में इसे धारण करना लाभकारी हो सकता है।क्या राहु बीज मंत्र का जाप किसी विशेष दिन करना चाहिए?
हां, राहु बीज मंत्र का जाप शनिवार से शुरू करना चाहिए। यह दिन राहु ग्रह से संबंधित होता है और इस दिन किए गए मंत्र जाप का अधिक प्रभाव पड़ता है।क्या राहु ग्रह की अशुभ स्थिति से मानसिक परेशानियां होती हैं?
हां, कुंडली में राहु की अशुभ स्थिति मानसिक परेशानियां, नकारात्मक सोच, और गलत कार्यों की ओर प्रवृत्त कर सकती है। ऐसे में राहु बीज मंत्र से शांति प्राप्त की जा सकती है।क्या राहु मंत्र के जाप से आर्थिक परेशानियों का समाधान हो सकता है?
हां, राहु मंत्र के जाप से आर्थिक परेशानियों में सुधार आ सकता है, क्योंकि यह राहु के दुष्प्रभावों को शांत करता है और जीवन में समृद्धि लाता है।क्या राहु मंदिर में जाने से सभी कष्ट समाप्त हो जाते हैं?
राहु मंदिर में पूजा करने से राहु के दुष्प्रभावों से राहत मिल सकती है, लेकिन यह भी महत्वपूर्ण है कि आप सही उपाय और मंत्र का पालन करें। मंदिर का दर्शन आध्यात्मिक शांति प्रदान करता है, लेकिन इसके साथ-साथ सही आचरण और साधना भी आवश्यक है।राहु के दोष के अलावा कौन-कौन से ग्रह के दोषों के लिए उपाए किए जाते हैं?
राहु के अलावा शनि, मंगल, बुध, शुक्र और केतु ग्रह के भी दोष हो सकते हैं, जिनके लिए अलग-अलग पूजा विधियां और मंत्र होते हैं। इन ग्रहों के दोषों से मुक्ति पाने के लिए विशेषज्ञ ज्योतिषी की सलाह ली जा सकती है।क्या राहु बीज मंत्र का जाप करने से नशे की आदतों से मुक्ति मिल सकती है?
हां, राहु बीज मंत्र का जाप करने से व्यक्ति की मानसिक शांति मिल सकती है और नशे की आदतों से मुक्ति पाने में मदद मिल सकती है, क्योंकि राहु का संबंध नशे, शराब और नकारात्मक प्रभावों से है।
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