जिले के प्रमुख मेले और स्थल
प्रमुख मेले
1. नुणाई मेला
- स्थान: केदार मंदिर, ग्राम भटाड़
- समय: श्रावण मास में
- विशेषताएँ: यह मेला धार्मिक और सांस्कृतिक महत्व रखता है, जिसमें भक्तजन शामिल होते हैं।
2. बिस्सू मेला (चकराता)
- स्थान: चकराता
- समय: बैशाख माह के प्रथम दिन
- विशेषताएँ: इस मेले में गोगा माँ की पूजा की जाती है और धूमसू नृत्य का आयोजन किया जाता है।
3. हत्तालिका मेला
- स्थान: देहरादून
- विशेषताएँ: यह मेला गोरखा समुदाय द्वारा आयोजित होता है और यहां पारंपरिक संस्कृति को दर्शाने वाले कार्यक्रम होते हैं।
4. राजपुर नेचर फेस्टिवल
- स्थान: राजपुर
- समय: 2014 से प्रतिवर्ष नवम्बर में
- विशेषताएँ: यह मेले प्राकृतिक सौंदर्य को प्रदर्शित करता है और पर्यटकों को आकर्षित करता है।
5. पांचोई लाकोत्सव
- स्थान: जौरसार
- समय: दशहरे से 4 दिन पूर्व
- विशेषताएँ: यह मेला स्थानीय संस्कृति और परंपराओं का जश्न मनाता है।
6. शहीद वीर केसरी मेला
- स्थान: चकराता
- विशेषताएँ: यह मेला शहीद वीर केसरी की स्मृति में आयोजित किया जाता है।
7. टपकेश्वर मेला
- स्थान: टपकेश्वर महादेव मंदिर
- विशेषताएँ: यह मेला स्थानीय श्रद्धालुओं के लिए महत्वपूर्ण है।
जिले के प्रमुख स्थल
1. कालसी
- स्थान: यमुना और अमलावा नदी के तट पर
- विशेषताएँ: यहां सम्राट अशोक का उत्तरी सीमा पर स्थित शिलालेख प्राप्त हुआ है। स्थानीय लोग इसे चित्रशिला के नाम से जानते हैं।
2. मसूरी
- विशेषताएँ: पहाड़ों की रानी उपनाम से प्रसिद्ध, मसूरी का नाम मंसूर पौधे की अधिकता से हुआ। यहां के प्रमुख स्थलों में एवरेस्ट पार्क, कम्पनी गार्डन, कैमल्स बैक रोड और मसूरी झील शामिल हैं।
3. चकराता
- विशेषताएँ: इसे पहाड़ों का राजा कहा जाता है। यहां के प्रमुख स्थल टाइगर फॉल और लाखामण्डल हैं।
4. सहस्त्रधारा
- विशेषताएँ: ग्रीष्मकालीन पर्यटन का प्रमुख केन्द्र, यहां गन्धक युक्त कुण्ड और द्रोणाचार्य गुफा है।
5. खलंगा स्मारक
- विशेषताएँ: यह स्मारक नालापानी के युद्ध की याद दिलाता है, जिसमें गोरखा सैनिकों ने अंग्रेजी फौज का सामना किया था।
6. मालसी हिरन पार्क
- विशेषताएँ: 1976 में स्थापित, इसे देहरादून जू के नाम से भी जाना जाता है।
जिले के प्रमुख मंदिर
1. ज्वालाजी मंदिर
- स्थान: बिनोग हिल
- विशेषताएँ: यह माता दुर्गा को समर्पित एक शक्तिपीठ है, जहां माता सती की जीभ गिरी थी।
2. महासू मंदिर हनोल
- स्थान: चकराता
- विशेषताएँ: इसे उत्तराखण्ड का पांचवां धाम कहा जाता है।
3. टपकेश्वर महादेव मंदिर
- स्थान: तमसा नदी के तट पर
- विशेषताएँ: यहां भगवान शिव ने बालक अश्वथामा की इच्छा पूरी की थी।
4. लक्ष्मण झूला
- विशेषताएँ: इसे लक्ष्मण द्वारा बनवाए गए पुल के नाम पर रखा गया है।
5. त्रिवेणी घाट
- विशेषताएँ: गंगा, जमुना और सरस्वती का जल यहां मिलता है, जो इसे त्रिवेणी कहता है।
6. गुरू रामराय दरबार
- विशेषताएँ: यहां झण्डा मेला आयोजित होता है।
जिले के संस्थान
- भारतीय सुदूर संवेदी संस्थान (1966)
- भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण संस्थान (1959)
- इंडियन मिलिट्री अकादमी (1932)
- स्वामी राम हिमालयन विश्वविद्यालय (1989)
प्रमुख समाचार पत्र एवं पत्रिकाएं
- द हिल्स (1842)
- हिमालय क्रानिकल (1875-76)
- गढ़वाली (1905)
- युगवाणी (1947 से)
निष्कर्ष
जिला अपने मेलों, स्थलों, मंदिरों और सांस्कृतिक धरोहर के लिए जाना जाता है। यहां की प्राकृतिक सुंदरता और ऐतिहासिक महत्व इसे पर्यटन के लिए एक महत्वपूर्ण स्थान बनाते हैं
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FAQs: जिले के प्रमुख मेले और स्थलों
1. नुणाई मेला कब और कहाँ आयोजित होता है?
- नुणाई मेला केदार मंदिर, ग्राम भटाड़ में श्रावण मास में आयोजित होता है। यह एक महत्वपूर्ण धार्मिक मेला है जिसमें श्रद्धालु बड़ी संख्या में भाग लेते हैं।
2. बिस्सू मेला में क्या विशेष होता है?
- बिस्सू मेला चकराता में बैशाख माह के पहले दिन आयोजित होता है। इस मेले में गोगा माँ की पूजा की जाती है और धूमसू नृत्य किया जाता है, जो इसे खास बनाता है।
3. हत्तालिका मेला किस समुदाय द्वारा आयोजित किया जाता है?
- हत्तालिका मेला गोरखा समुदाय द्वारा देहरादून में आयोजित किया जाता है, जो अपनी सांस्कृतिक धरोहर को दर्शाता है।
4. राजपुर नेचर फेस्टिवल कब से आयोजित हो रहा है?
- राजपुर नेचर फेस्टिवल 2014 से प्रतिवर्ष नवम्बर में आयोजित होता है, जिसमें प्राकृतिक सौंदर्य और स्थानीय संस्कृति का जश्न मनाया जाता है।
5. मसूरी का नामकरण कैसे हुआ?
- मसूरी का नाम मंसूर/मंसूरी नामक पौधे की अधिकता के कारण हुआ। इसे "पहाड़ों की रानी" के नाम से भी जाना जाता है।
6. कालसी में क्या देखने लायक है?
- कालसी में यमुना और अमलावा नदी के तट पर स्थित सम्राट अशोक का शिलालेख है, जिसे स्थानीय लोग चित्रशिला के नाम से जानते हैं।
7. मसूरी में प्रमुख जलप्रपात कौन से हैं?
- मसूरी में कैम्पटी फॉल, भट्टा फॉल, झड़ीपानी फॉल, और मौसी फॉल (हिर्यसे फॉल) जैसे प्रसिद्ध जलप्रपात हैं।
8. ज्वालाजी मंदिर की विशेषता क्या है?
- ज्वालाजी मंदिर बिनोग हिल में स्थित मां दुर्गा को समर्पित है। यह एक शक्तिपीठ के रूप में प्रसिद्ध है, जहां मान्यता है कि माता सती की जीभ गिरी थी।
9. जिले में कितने प्रमुख संस्थान हैं?
- जिले में कई प्रमुख संस्थान हैं, जैसे भारतीय सुदूर संवेदी संस्थान, ड्रिलिंग टेक इंस्टीट्यूट, और वाडिया संस्थान, जो शिक्षा और अनुसंधान में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
10. प्रमुख समाचार पत्रों में कौन-कौन से शामिल हैं?
- प्रमुख समाचार पत्रों में "द हिल्स", "मेफिसलाइट", "हिमालय क्रानिकल", और "गढ़वाली" शामिल हैं, जो क्षेत्र की समाचारों का प्रकाशन करते हैं।
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